रविवार, 3 फ़रवरी 2019

.....पांच लाख तक छूट है, उससे ऊपर लूट

हिन्दी साहित्य संगम की काव्य-गोष्ठी में कवियों ने प्रस्तुत की रचनाएँ 

        दिनांक 3 फरवरी, 2019 को  साहित्यिक संस्था, 'हिंदी साहित्य संगम के तत्वावधान में  एक काव्य-गोष्ठी का आयोजन, मिलन विहार स्थित मिलन धर्मशाला में किया गया। कार्यक्रम का शुभारम्भ माँ सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण करके किया गया।
काव्य पाठ करते हुए डाॅ0 मनोज रस्तोगी 
        राजीव प्रखर ने "जाने कब से चमक रहे हैं, नभ में हम चन्दा औ' तारे। असलम-राजा-जौन-गुरिन्दर, मिलकर खेलो साथ हमारे।" अशोक विश्नोई ने "चन्दा निकाला सफ़र को, ढूंढने प्यार की डगर को।।" ओंकार सिंह ओंकार ने " घरों को प्यार से अपने सजा लो, सुखी तुम अपने जीवन को बना लो।" जितेन्द्र कुमार जौली ने कर छूट पर कटाक्ष करते हुए सुनाया, "जुमलेबाजी लग रही, हमें आयकर छूट। पांच लाख तक छूट है, उससे ऊपर लूट।।"
        कार्यक्रम की अध्यक्षता श्री ओंकार सिंह 'ओंकार' ने की। मुख्य अतिथि श्री अशोक विश्नोई एवं विशिष्ट अतिथि के रूप में श्रीमती हेमा तिवारी भट्ट मंचासीन रहीं। माँ शारदे की वंदना श्रीमती हेमा तिवारी भट्ट ने प्रस्तुत की तथा संचालन जितेन्द्र कुमार 'जौली' ने किया।
       कार्यक्रम में अनिरुद्ध उपाध्याय 'आज़ाद', अरविन्द कुमार शर्मा 'आनंद', आवरण अग्रवाल 'श्रेष्ठ', प्रशान्त मिश्रा, मीनाक्षी ठाकुर, राजीव 'प्रखर', मोनिका 'मासूम', जितेन्द्र कुमार 'जौली', मनोज कुमार 'मनु', डॉ० मनोज रस्तोगी, योगेन्द्र वर्मा 'व्योम', रामदत्त द्विवेदी, हेमा तिवारी भट्ट, अशोक विश्नोई एवं ओंकार सिंह 'ओंकार' ने विभिन्न सामाजिक मुद्दों पर आधारित रचनाएं प्रस्तुत कीं। कार्यक्रम के अन्त में संस्था के अध्यक्ष श्री रामदत्त द्विवेदी ने आभार अभिव्यक्त किया।